नई दिल्ली (Tue, 21 Oct 2025): दीपावली के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों के नाम एक प्रेरणादायक पत्र लिखा। इस पत्र में उन्होंने भगवान श्रीराम के आदर्शों को आधुनिक भारत की आत्मा से जोड़ा और कहा कि “प्रभु श्रीराम केवल एक धार्मिक प्रतीक नहीं, बल्कि धर्म, न्याय और मानवता के शाश्वत मार्गदर्शक हैं।”
प्रधानमंत्री ने हाल ही में सम्पन्न Operation Sindoor का उल्लेख करते हुए कहा कि यह भारत के नैतिक साहस और संकल्प का जीवंत उदाहरण है। “भारत ने इस अभियान में दिखाया कि जब बात अन्याय और आतंक से लड़ने की आती है, तो हम केवल सही के साथ खड़े नहीं होते—बल्कि अन्याय का निर्णायक उत्तर भी देते हैं,” उन्होंने लिखा।
🇮🇳 ‘भारत ने धर्म की रक्षा की, अन्याय का प्रतिशोध लिया’
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि Operation Sindoor ने पूरी दुनिया को यह संदेश दिया कि भारत सिर्फ शक्तिशाली नहीं, बल्कि नैतिक रूप से दृढ़ राष्ट्र है। “आज का भारत नए आत्मविश्वास और आत्मनिर्भरता के साथ खड़ा है। यह दीपावली इस बात का प्रतीक है कि धर्म, सत्य और न्याय की ज्योति कभी बुझ नहीं सकती,” उन्होंने कहा।
प्रधानमंत्री का यह पत्र नवरात्रि और विजयदशमी के अवसर पर जारी किया गया, जिसमें उन्होंने देशवासियों को धर्म और न्याय के पथ पर चलने का आह्वान किया।
🌾 नक्सल मुक्त जिलों में पहली बार जले दीप
पत्र में प्रधानमंत्री मोदी ने उल्लेख किया कि इस बार की दीपावली खास है, क्योंकि ऐसे जिलों में भी दीप प्रज्ज्वलित होंगे जहां कभी नक्सलवाद का साया था। “वहां अब शांति और विकास की रोशनी फैल रही है। यह परिवर्तन भारत के सामूहिक संकल्प और एकता की जीत है,” उन्होंने कहा।
💡 Next Generation Reforms और आत्मनिर्भर भारत
प्रधानमंत्री ने पत्र में लिखा कि हाल के दिनों में देश में Next Generation Reforms की शुरुआत हुई है। “नवरात्रि के पहले दिन लागू हुई नई जीएसटी दरों ने लाखों परिवारों को राहत दी है। जीएसटी बचत उत्सव में देशवासियों के हजारों करोड़ रुपये की बचत हो रही है।”
उन्होंने कहा कि “अनेक संकटों से गुजर रही दुनिया में भारत स्थिरता और संवेदनशीलता दोनों का प्रतीक बनकर उभरा है। आने वाले कुछ वर्षों में भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने जा रहा है।”
🙏 ‘हर नागरिक निभाए अपना कर्तव्य’ — पीएम मोदी
प्रधानमंत्री मोदी ने पत्र के अंत में लोगों से कुछ विशेष अपीलें कीं। उन्होंने कहा कि “यह समय नए संकल्पों का है। हर नागरिक को अपने कर्तव्यों के प्रति सजग रहना होगा। अगर हम सब मिलकर अपने हिस्से की जिम्मेदारी निभाएं, तो विकसित भारत का सपना दूर नहीं।”
उन्होंने जनता से स्वदेशी उत्पाद अपनाने, स्वच्छता और स्वास्थ्य को प्राथमिकता देने, भोजन में तेल और नमक की मात्रा 10% घटाने, और योग को जीवन का हिस्सा बनाने का आग्रह किया।









